बुधवार, 3 जुलाई 2013

प्रकृति हो गई स्वच्छन्द

क्रोध में झटक दिया सिर,
नदियाँ विह्वल हुईं फिर,
देखते ही देखते शिव ने,
शवों के अम्बार लगा दिए।
उत्तराखण्ड में लोगों की,
रोजी रोटी घर द्वार हिला दिए।
प्रकृति हो गई स्वच्छन्द।
मनुष्य सिद्ध हुआ मतिमन्द।

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